IAS वर्मा के विवादित बयान पर उबाल,GEN-Z संगठन ने गधे पर पुतला बैठाकर किया प्रदर्शन,निलंबन की मांग
मध्यप्रदेश में आईएएस संतोष वर्मा द्वारा ब्राह्मण समाज की बेटी को लेकर कथित अभद्र टिप्पणी के खिलाफ विरोध थमने का नाम नहीं ले रहा है। शनिवार को राजधानी के बरकतउल्ला विश्वविद्यालय (BU) के सामने GEN-Z संगठन के सैकड़ों युवा एकत्रित हुए और जोरदार प्रदर्शन किया। प्रदर्शन के दौरान संतोष वर्मा के पुतले को गधे पर बैठाकर जुलूस निकाला गया तथा जूते-चप्पलों से पिटाई की गई। बाद में प्रतीकात्मक विरोध के रूप में पुतले को जलाया गया।प्रदर्शन का नेतृत्व पंडित आशीष शर्मा ने किया। उन्होंने कहा कि यह मामला किसी एक समाज तक सीमित नहीं, बल्कि प्रदेश की सभी बहन-बेटियों के सम्मान से जुड़ा है। शर्मा ने मांग की कि अधिकारी पर तत्काल FIR दर्ज कर निलंबन किया जाए। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा, यदि सरकार ने जल्द कार्रवाई नहीं की, तो GEN-Z खुद संतोष वर्मा को घर से बाहर निकालकर गधे पर बिठाकर पूरे प्रदेश में जुलूस निकालेगा।
वर्मा के बयान पर पूरे सवर्ण समाज में आक्रोश
युवा नेता अभिषेक द्विवेदी ने कहा कि संतोष वर्मा का बयान न केवल निंदनीय है, बल्कि सामाजिक तनाव बढ़ाने वाला भी है। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि हम उनकी स्थिति गधे से भी बदतर करेंगे, ताकि भविष्य में कोई अधिकारी इस तरह की मानसिकता का प्रदर्शन न कर सके। प्रदर्शन में अक्षय तोमर, रवि परमार, लक्की चौबे, प्रतीक यादव, अंकित शर्मा, आदित्य त्रिपाठी, साहिल प्रताप सिंह, अमित बूबड़े समेत सैकड़ों सवर्ण समाज के युवा शामिल हुए। प्रदर्शनकारियों ने कहा कि जब तक दोषी अधिकारी पर सख्त कार्रवाई नहीं होती, आंदोलन जारी रहेगा।
Gen-Z क्या है और इनका प्रदर्शन क्यों अलग
Gen-Z, वह पीढ़ी है जो लगभग 1997 से 2012 के बीच पैदा हुई है। आज इनकी आयु लगभग 13 से 28 वर्ष के बीच है। ये पूरी तरह डिजिटल युग में पली बढ़ी पीढ़ी है। सोशल मीडिया, इंटरनेट, मोबाइल और तेज कम्युनिकेशन इनके जीवन का हिस्सा है। इन्हें अक्सर यंग, मुखर, टेक सेवी और सामाजिक-राजनीतिक मुद्दों पर बेबाक आवाज उठाने वाली पीढ़ी कहा जाता है। इसलिए इनके द्वारा किए जाने वाले प्रदर्शन को Gen-Z प्रदर्शन कहा जा रहा है। यह शब्द नेपाल में हुए विद्रोह के बाद से चर्चा में है। जो नई पीढ़ी की सामूहिक नाराजगी और सामाजिक चेतना का प्रदर्शन था।